Sunday, May 1, 2011

शुक्र है..शुक्रवार है..#8


हुए दिन कुछ ही, पर लगता है जैसे काल गुज़रे हैं,
सुबह से शाम को तकते भी, जैसे साल गुज़रे हैं,
ख़ुदा ना प्यार, मुझको यार तुम बस 'मय' मेरी दे दो,
ज़माने संग बुरी, 'मय' संग बड़ी खुशहाल गुज़रे है..!!

1 comment:

  1. behtareen adi;kuchh shabdo me kafi kuchh kah diye :)
    plzz go trough d link if u find som tym

    www.shailkavitayen.blogspot.com/2009/03/blog-post_3192.html

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